रविवार, 31 अगस्त 2025

कविता

प्रेम नारायन तिवारी

आजादी का दिन प्यारा है

 

आजादी का दिन प्यारा है,

आओ जश्न मनायें हम।

जनगणमन की सुन्दर धुन को,

सावधान हो गायें हम।।

 

फहरायें  हम तीन रंग का,

राष्ट्रीय ध्वजा तिरंगा।

नील गगन में जो अस लहरे,

धरा पर जैसे गंगा।।

 

अमर शहीदों का गुण गायें,

कर करके जयकारा।

जिनके ऋणी युगों तक जिनसे,

ऊँचा भाल हमारा।।

 

बटुकेश्वर आजाद भगत सिंह,

बिस्मिल्ल झाँसी रानी।

नाना कुँवर सुभाष आदि की,

अलिखित अमर कहानी।।

 

आजादी के सुख की खातिर,

बलिदानों का मेला।

उसी नींव पर आज सजा सुख,

कष्ट उन्होंने झेला।।

 

आजादी की कीमत जाने,

वह ही जो परतंत्र।

बंधन में आ शेर नाचता,

मानव का सुन मंत्र।।

 

प्रेम आजादी ना खोना है,

इस पर जान लुटाना।

बिना आजादी के जग जीना,

नर्क में समय बिताना।।


प्रेम नारायन तिवारी

रुद्रपुर देवरिया


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